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भारत में चंदन की खेती से जुडी सम्पूर्ण जानकारी

भारत में चंदन की खेती से जुडी सम्पूर्ण जानकारी

हमारे हिंदू धर्म में प्राचीन काल से ही अनेक संस्कारों और रीतियों का पालन किया जाता रहा है। चाहे वह महाभारत हो या रामायण—इन सभी युगों में चंदन का विशेष महत्व रहा है।विवाह से लेकर अंतिम संस्कार तक, चंदन का उपयोग विभिन्न धार्मिक और सांस्कृतिक अनुष्ठानों में होता है, जहाँ इसकी सुगंध को आध्यात्मिक अनुभवों को बढ़ाने वाला माना जाता है। इसे पवित्रता और ज्ञान का प्रतीक भी माना जाता है।चंदन की सुगंध से एक शांत वातावरण निर्मित होता है, जो विशेष रूप से प्रयाण काल में आध्यात्मिक यात्रा को सहज बनाता है। आइए अब चंदन की विशेषताओं और...
फ्रेंच बीन्स की खेती कैसे की जाती है जानिए सम्पूर्ण जानकारी

फ्रेंच बीन्स की खेती कैसे की जाती है जानिए सम्पूर्ण जानकारी

फ्रेंच बीन्स उत्तर-पूर्वी भारत की एक प्रमुख दलहनी सब्जी फसल है, जिसे कोमल फलियों, हरी दालों और सूखी फलियों (राजमा) के रूप में उगाया जाता है। यह पोषण से भरपूर होती है, जिसमें प्रोटीन, विटामिन और खनिज भरपूर मात्रा में पाए जाते हैं। 100 ग्राम हरी फलियों में औसतन 1.7 ग्राम प्रोटीन, 4.5 ग्राम कार्बोहाइड्रेट, 221 आईयू विटामिन-ए, 11 मि.ग्रा. विटामिन-सी और 50 मि.ग्रा. कैल्शियम पाया जाता है। इसकी सूखी फलियाँ प्रोटीन का अच्छा स्रोत होती हैं।यह एक अल्पकालिक फसल है, जिससे किसान थोड़े समय में अच्छा लाभ कमा सकते हैं। इसे वसंत और गर्मी के मौसम में धान की...
फ्रेंच बीन्स की खेती कैसे की जाती है जानिए सम्पूर्ण जानकारी 1

फ्रेंच बीन्स की खेती कैसे की जाती है जानिए सम्पूर्ण जानकारी 1

फ्रेंच बीन्स उत्तर-पूर्वी भारत की एक प्रमुख दलहनी सब्जी फसल है, जिसे कोमल फलियों, हरी दालों और सूखी फलियों (राजमा) के रूप में उगाया जाता है। यह पोषण से भरपूर होती है, जिसमें प्रोटीन, विटामिन और खनिज भरपूर मात्रा में पाए जाते हैं। 100 ग्राम हरी फलियों में औसतन 1.7 ग्राम प्रोटीन, 4.5 ग्राम कार्बोहाइड्रेट, 221 आईयू विटामिन-ए, 11 मि.ग्रा. विटामिन-सी और 50 मि.ग्रा. कैल्शियम पाया जाता है। इसकी सूखी फलियाँ प्रोटीन का अच्छा स्रोत होती हैं।यह एक अल्पकालिक फसल है, जिससे किसान थोड़े समय में अच्छा लाभ कमा सकते हैं। इसे वसंत और गर्मी के मौसम में धान की...
कैसा होता है रुद्राक्ष का पेड़, जानिए इससे जुड़ी विशेषताएँ

कैसा होता है रुद्राक्ष का पेड़, जानिए इससे जुड़ी विशेषताएँ

भारतवर्ष में रुद्राक्ष को अत्यंत पवित्र और धार्मिक दृष्टि से महत्वपूर्ण माना जाता है। यह मुख्यतः धार्मिक अनुष्ठानों, मंत्र जाप और साधना में उपयोग किया जाता है। मान्यता है कि रुद्राक्ष भगवान शिव के आंसुओं से उत्पन्न हुआ था, अतः इसे शिवभक्तों के लिए अत्यंत शुभ माना जाता है।रुद्राक्ष का वृक्ष देखने में कैसा होता है?रुद्राक्ष का वृक्ष एक सदाबहार (evergreen) पेड़ होता है, जिसका वैज्ञानिक नाम Elaeocarpus ganitrus है। यह पेड़ प्रायः 50 से 200 फीट तक ऊँचा हो सकता है। भारत में इसके Elaeocarpus वंश की लगभग 35 प्रजातियाँ पाई जाती हैं। इसके बीज को ही "रुद्राक्ष"...
इन तीन पेड़ों की खेती करके आप भी कमा सकते है लाखों का मुनाफा

इन तीन पेड़ों की खेती करके आप भी कमा सकते है लाखों का मुनाफा

कृषि वानिकी (एग्रोफॉरेस्ट्री) किसानों के लिए फायदेमंद साबित हो रही है। पारंपरिक खेती छोड़कर कई किसान पेड़ों की खेती में निवेश कर रहे हैं, जिससे वे अच्छा मुनाफा कमा रहे हैं।देशभर में ऐसे कई उदाहरण हैं, जहां किसान पेड़ लगाकर करोड़ों रुपए कमा रहे हैं। सफेदा, महोगनी, सागवान, गम्हार, चंदन आदि पेड़ों की खेती कम लागत और देखभाल के साथ की जा सकती है, और इससे अच्छी कमाई होती है।पेड़ों की खेती के लाभपारंपरिक खेती से अनाज और अन्य सामग्री प्राप्त की जा सकती है, लेकिन कृषि वानिकी से महंगी लकड़ी मिलती है, जिसका फर्नीचर और अन्य उद्देश्यों के...
अर्जुन की खेती: पशुओं के लिए पौष्टिक चारा और अतिरिक्त आय का स्रोत

अर्जुन की खेती: पशुओं के लिए पौष्टिक चारा और अतिरिक्त आय का स्रोत

अर्जुन का पेड़ अपनी औषधीय गुणों के लिए जाना जाता है। इसकी छाल का उपयोग कई बीमारियों के इलाज में किया जाता है।लेकिन क्या आप जानते हैं कि अर्जुन का पेड़ पशुओं के लिए भी एक बेहतरीन चारा हो सकता है? आइए जानते हैं अर्जुन की खेती कैसे की जाती है और यह पशुओं के लिए कैसे फायदेमंद है।जलवायु और मिट्टी की आवश्यकताएंजलवायुअर्जुन की खेती के लिए उपोष्णकटिबंधीय और उष्णकटिबंधीय जलवायु सबसे उपयुक्त है।यह वृक्ष 10°C से 45°C के बीच तापमान सहन कर सकता है, और 800-1200 मि.मी. वार्षिक वर्षा वाले क्षेत्रों में अच्छी तरह से विकसित होता है।ये...