पंजाब राज्य में धान की खऱीद 100 लाख मीट्रिक टन को पार कर गई है। अक्टूबर के अंत तक हुई है खरीद संतोषजनक है। यह जानकारी खाद्य एवं नागरिक आपूत्ति मंत्री भारत भूषण आशु ने बीते दिनों मीडिया को दी। उन्होंने कहा कि राज्य में धान की खऱीद का काम कोविड-19 सम्बन्धी लागू प्रोटोकोल की यथावत पालना करते हुए जारी है।
श्री आशु ने बताया कि धान की खऱीद सम्बन्धी अदायगी भी सरकार की हिदायतों के अनुसार खऱीद से 48 घंटों में किए जाने को यकीनी बनाया जा रहा है और अब तक खऱीद सम्बन्धी 13672.67 करोड़ की अदायगी की जा चुकी है।
उन्होंने बताया कि मंडियों में 25 अक्टूबर,2020 तक 1,02,49,149 मीट्रिक टन धान की आमद हुई है, जिसमें से 1,01,18,556 मीट्रिक टन धान की खऱीद की जा चुकी है। खऱीद किए गए धान में से सरकारी एजेंसियों द्वारा 1,00,89,533 मीट्रिक टन और मिलर्ज़ द्वारा 29,024 मीट्रिक टन खऱीद की गई है।
कैबिनेट मंत्री ने बताया कि मार्कफैड को खरीद के लिए 743,28,83,484 रुपए जारी किए गए हैं, जबकि पंजाब स्टेट वेयरहाऊसिंग कोर्पोरेशन को 261,18,55,731 करोड़,पनग्रेन को 1018,85,04,888 रुपए और पनसप को 436,72,94,982 रुपए जारी किए गए हैं।
श्री आशु ने धान की खऱीद प्रक्रिया के सुचारू ढंग से चलने पर ख़ुशी प्रकट करते हुए कहा कि अभी तक कहीं से भी मंडी के द्वारा कोरोना फैलने या होने सम्बन्धी रिपोर्ट सामने नहीं आई है, जिससे पता चलता है कि सरकार द्वारा किए गए प्रबंध सुचारू हैं।
उन्होंने कहा कि खाद्य एवं नागरिक आपूत्ति विभाग द्वारा कुछ व्यापारी किस्म के लोगों द्वारा धान की फ़सल अन्य राज्यों से लाकर पंजाब की मंडियों में बेचने के रुझान को रोकने के लिए विभाग के विजीलैंस विंग द्वारा पंजाब पुलिस और पंजाब मंडी बोर्ड के साथ मिलकर पंजाब राज्य के अलग-अलग अंतरराज्यीय बॉर्डरों पर निगरानी करने के साथ-साथ अचानक चैकिंगें भी की जा रही हैं। जिसके स्वरूप अब तक बाहर के राज्यों से अनाधिकृत तौर पर बरामद पैडी/चावल के कुल 128 ट्रक और 11 ट्रालियाँ पकड़ी जा चुकी हैं और ऐसे लोगों/आढ़तियों/ मिल्रों के विरुद्ध 69 एफ.आई.आर. दर्ज करवाई जा चुकी हैं।