By:
MeriKheti
Published on: 26-Nov-2022
मिलेट्स के उत्पादन हेतु प्रोत्साहन देने के सन्दर्भ में छत्तीसगढ़ राज्य को राष्ट्रीय स्तर का पोषक अनाज अवार्ड २०२२ प्राप्त हो गया है। छत्तीसगढ़ मिलेट मिशन की वजह से राज्य में रागी, कोदो एवं कुटकी (मिलेट्स) के उत्पादन के मामले में किसानों की दिलचस्पी बहुत तेजी से बढ़ी है। बतादें कि पूर्व में अनाप-सनाप भाव में बिक्री होने वाला मिलेट्स अब छत्तीसगढ़ राज्य में काफी उचित मूल्य में बिक रहा है। प्रदेश के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की देखरेख में राज्य के किसानों की करोड़ों रूपये की आमदनी होने लगी, क्योंकि मिलेट्स का अच्छा समर्थन मूल्य किसानों को प्रदान किया गया था। गुजरे हुए सीजन में किसानों द्वारा समर्थन मूल्य पर ३४२९८ क्विंटल मिलेट्स १० करोड़ ४५ लाख रूपए में बिक्री किया था। छत्तीसगढ़ राज्य देश का एकमात्र राज्य है, जहां रागी, कुटकी एवं कोदो की समर्थन मूल्य पर खरीद व साथ ही मूल्य में वृद्धि का काम भी किया जा रहा है।
कोदो-कुटकी मिलेट्स के समर्थन मूल्य पर ३०० प्रति क्विंटल की दर से एवं रागी की खरीदी ३३७७ रूपए प्रति क्विंटल के हिसाब से खरीदी की जा रही है। छत्तीसगढ़ राज्य बीज प्रमाणीकरण संस्था की सहायता और मार्गदर्शन से किसान कोदो के प्रमाणित बीज की पैदावार कर बेहतरीन लाभ कमाने लगे हैं। बीते एक वर्ष में प्रमाणित बीज उत्पादक किसानों की संख्या में लगभग ५ गुना व इसके माध्यम से अर्जित होने वाली कमाई में चार गुना की बढ़ोत्तरी हुई है। बतादें कि वर्ष २०२१-२२ में प्रदेश के ११ जनपदों के १७१ किसानों ने ३०८९ क्विंटल प्रमाणित बीज की पैदावार की है। जिसे
राष्ट्रीय बीज निगम द्वारा ४१५० रूपए प्रति क्विंटल के हिसाब से किसानों से खरीद कर उन्हें १ करोड़ २८ लाख १८ हजार रूपए से ज्यादा की धनराशि अदा की है। छत्तीसगढ़ के किसानों द्वारा उत्पादित प्रमाणित बीज, सहकारी समितियों के जरिये बीजारोपण हेतु दिया जा रहा है।
इतनी धनराशि की आमदनी हुई थी
बीज प्रमाणीकरण संस्था के उच्च संचालक ए.बी.आसना ने कहा कि साल २०२०-२१ में प्रदेश में ७ जनपदों के ३६ कृषकों ने सिर्फ ७१६ क्विंटल प्रमाणित बीज की पैदावार की गयी थी। बतादें कि, इससे पैदावार करने वाले किसानों को ३२ लाख ८८ हजार रूपए की आय हुई थी, जबकि २०२१-२२ में
कोदो बीज पैदा करने वाले कृषकों की तादात एवं बीज विक्रय से प्राप्त लाभ कई गुना बढ़ गया है। बीते तीन वर्षो में कोदो प्रमाणित बीज उत्पादक किसानों द्वारा एक करोड़ ६५ लाख १८ हजार ६३३ रूपए का बीज, छत्तीसगढ़ बीज और विकास निगम को विक्रय किया है।
कितने क्विंटल प्रमाणित बीज उत्पादित हुआ
अपर संचालक आसना ने कहा कि ऐसी कृषि भूमि जहां धान की पैदावार बहुत कम होती है। उस जगह पर कोदो की कृषि करना अधिक फायदेमंद है। कोदो की कृषि हेतु कम जल एवं कम खाद की आवश्यकता होती है, जिसकी वजह से इसकी खेती में व्यय बेहद कम होता है और उत्पादक किसानों को फायदा अधिक होता है। उन्होंने कहा कि वर्ष २०१९-२०२० में प्रदेश में सिर्फ १०३ क्विंटल प्रमाणित बीज की पैदावार हुई थी।
मिलेट्स मिशन लागू होने के उपरांत से छत्तीसगढ़ राज्य बीज प्रमाणीकरण संस्था द्वारा अन्य शासकीय संस्थानों से तालमेल कर कोदो बीज पैदावार में वृध्दि हेतु हरसंभव प्रयास कर रहे हैं, जिससे बीज पैदावार में परस्पर बढ़ोत्तरी हो रही है।