मिचौंग चक्रवाती तूफान को लेकर कृषकों के लिए मौसम विभाग ने अलर्ट जारी किया है

By: Merikheti
Published on: 07-Dec-2023

मिचौंग चक्रवाती तूफान को लेकर कृषकों के लिए मौसम विभाग ने कुछ सलाह जारी की है। हालांकि, ये सलाह भिन्न-भिन्न राज्यों के कृषकों के लिए अलग-अलग है। यहां आप अपने प्रदेश के हिसाब से जानकारी ले सकते हैं।  चक्रवाती तूफान मिचौंग दक्षिण भारत के तटीय क्षेत्रों में कहर बरपा रही है। यही कारण है, कि मौसम विभाग ने वर्तमान में इसको लेकर अलर्ट जारी कर दिया है। मौसम विभाग के अनुसार, 6 दिसंबर को आंध्र प्रदेश के उत्तरीय तटीय क्षेत्रों में मूसलाधार बारिश हो सकती है। इसके अतिरिक्त छत्तीसगढ़, तेलंगाना और ओडिशा के कुछ क्षेत्रों में भी भारी वर्षा के अनुमान हैं। वहीं, विदर्भ को लेकर मौसम विभाग का कहना है, कि यहां के कुछ क्षेत्रों में मध्यम वर्षा होगी। साथ ही, कुछ हिस्सों में अत्यधिक बारिश के अनुमान हैं।

कृषकों के लिए क्या कहा गया है

मिचौंग चक्रवाती तूफान को लेकर कृषकों के लिए मौसम विभाग ने कुछ सलाहें जारी की हैं। मौसम विभाग का कहना है, कि आंध्र प्रदेश के जो भी कृषक हैं वो पके चावल, देर से बोई गई मूंगफली तथा मिर्च की कटाई वर्तमान में बंद कर दें। वहीं, छत्तीसगढ़, तेलंगाना और ओडिशा के कृषकों को लेकर मौसम विभाग ने कहा कि यहां के कृषक चावल, बाजरा और पके हुए कपास के बीजों को चुनना रोक दें।

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भारतीय मौसम विभाग की रिपोर्ट के अनुसार इन राज्यों में बढ़ सकता है बारिश और ठंड का प्रकोप बतादें, कि जो फसलें काटी जा चुकी हैं, उनको लेकर मौसम विभाग का कहना है कि उन्हें सुरक्षित स्थानों पर रख दें। यदि आपकी फसल खेत है तो उसे तिरपाल से बेहतरीन तरीके से ढक दें। वहीं, जिन पौधों पर फसल अच्छी मात्रा में लगी है उनको तीव्र हवाओं से संरक्षित करने के लिए सपोर्ट दे दें। मुख्य रूप से सब्जियों के पौधों के साथ ऐसा अवश्य करें। यदि ऐसा समय रहते आपने नहीं किया तो ये पौधे नीचे गिर जाएंगे। आपकी फसल को प्रचंड हानि पहुंच सकती है।

आगामी 5 दिनों तक सावधान रहें 

मौसम विभाग ने केरल तथा दक्षिण भारतीय राज्यों के तटीय क्षेत्रों के लिए आने वाले पांच दिनों का पूर्वानुमान लगाया है, कि गरज बिजली के साथ बहुत सारी जगहों पर हल्की वर्षा होगी तो कई स्थानों पर प्रचंड वर्षा होगी। वहीं, पंजाब के क्षेत्रों में घना कोहरा छाए रहने की आशा है। वहीं, मछुआरों को सलाह दी जाती है, कि वो आने वाले पांच दिनों तक दक्षिण-पश्चिम बंगाल की खाड़ी और उत्तरी तमिलनाडु-पुडुचेरी के तटों के पास ना जाएं। यहां हालात कभी भी बिगड़ सकती है।

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